हल्द्वानी– Zee TV के शो सा रे गा मा पा २०२३ में हमारे उत्तराखण्ड का नाम रौशन कर रहे हैं नैनीताल के रहने वाले युवा “आरोह शंकर” जिन्होंने अपनी ज़बरदस्त गायकी से अपने प्रतिद्वंदियों को परास्त करते हुए टॉप १२ मे स्थान बनाया है . मूलतः अगरिया , धानाचुली ज़िला नैनीताल के निवासी श्री हरी शंकर के पौत्र आरोह शंकर का जन्म हल्द्वानी में हुआ और उन्होंने अपनी स्कूली शिक्षा मुंबईऔर नोएडा से लेने के बाद नोएडा की Amity University से B Tech की डिग्री प्राप्त की है। २२ वर्षीय आरोह शंकर के पिता श्री गिरिजा शंकर, भारत सरकार के उपक्रम “गेल ” में जोनल मुख्य महाप्रबंधक हैं और माताजी विनीता शंकर एक गृहिणी हैं। यद्यपि परिवार नौकरी के कारण उत्तराखंड से बाहर निवास करता है, परंतु हर त्योहार और उत्सव मनाने ये अपने निवास हल्द्वानी और धनाचूली अवश्य आते हैं। आरोह ने भारतीय शास्त्रीय संगीत गायन मे प्रथम श्रेणी मे विशारद भी किया हैं उन्होंने ८ वर्ष की उम्र से संगीत सीखना आरंभ कर दिया था।
नई दिल्ली एवं एनसीआर में अनेकों स्टेज शो कर चुके उत्तराखण्ड के आरोह शंकर ने अपनी मख़मली आवाज़ और बेमिसाल गायकी से सा रे गा माँ पा के तीनों judges अन्नू मलिक , नीति मोहन और हिमेश रेशम्मिया का दिल जीत लिया . क्वालिफ़ाईंग राउंड में आरोह ने मोहम्मद रफ़ी द्वारा गाया गया मेरे हमदम मेरे दोस्त का “ना जा कही अब ना जा” गीत को जिस रूहानियत से गाया , उसपर अन्नू मलिक ने कहा की आरोह की आवाज़ एक पार्श्व गायक बनने के लिए तैयार है ,
अंतिम २५ में अपना स्थान बनाने के बाद आरोह ने बैटल राउंड में सोनू निगम जी द्वारा गाया “अभी मुझ में कही “ गीत गाकर अपने प्रतिद्वंदी को हरा कर टॉप १२ में अपना स्थान बनाया।
आरोह शंकर , महान गायक मोहम्मद रफ़ी और सोनू निगम को अपना आइडल मानते है। वर्ष २०२० में ऑनलाइन वर्ल्ड वाइड इण्डियन आइडल प्रतियोगिता में बॉलीवुड केटेगरी में आरोह ने प्रथम स्थान प्राप्त किया जिसको श्री कैलाश खेर ने जज किया था . नये , पुराने , क्लासिकल , सेमी क्लासिकल सभी तरह के गीतों को मधुरता से गाने वाले आरोह वैसे तो इंजीनियर हैं लेकिन वो संगीत को ही अपने जीवन का लक्ष्य बनाना चाहते हैं। आरोह का मानना है की एक सच्चा कलाकार बनने के लिए कड़ी मेहनत, लगन के साथ साथ अपनों का आशीर्वाद और लोगो की दुआओ का महत्त्वपूर्ण योगदान रहता है।